गुरुवार, 7 अगस्त 2014
sushama swaraj in forgien tour
आज से 11 अगस्त तक म्यांमार दौरे पर सुषमा स्वराज
विदेश मंत्री का
पड़ोसी देशों का यह चैथा दौरा
पडोशी देशों से
रिश्ते मजबूत करने की नीति की तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्री
सुषमा स्वराज का विदेश मंत्रियों के साथ बैठकों का दौर जारी है। जिसके चलते आज से 11 अगस्त तक विदेश मंत्री सुषमा स्वराज म्यांमार
के दौरे पर है। जहाँ वे म्यांमार के विदेश मंत्री के साथ द्विपक्षीय रिश्तों पर
बात करने के अलावा आसियान और पूर्वी एशिया
के विदेश मंत्रीओ के साथ वार्ता करेंगी। केंद्र सरकार ने विदेशों से मेलजोल बढ़ाकर
कांग्रेस कड़ी मात भी दे रही है। अगर हम सत्ता के आने के बाद की वर्तमान केंद्र
सरकार की बात करे तो आज के विदेश मंत्री
के विदेशी दौरे से पहले भी विदेशी मंत्रियों का आवागमन भारत हुआ है। जससे
स्पष्ट रूप से जाहिर होता है की इससे भारत को काफी क्षेत्रो में लाभ पहुंचेगा।
चीन के विदेश मंत्री ने सुषमा स्वराज से की मुलाकात
वीओ1 - जीहां विदेश मंत्री सुषमा स्वराज आज से 11 अगस्त तक म्यांमार का दौरे पर जा रहीं हैं...
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया कि सुषमा स्वराज का पड़ोसी देशों का यह चैथा
दौरा होगा। इसके पहले वह भूटान, नेपाल और
बांग्लादेश का दौरा कर चुकी हैं।चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने भारत की नई सरकार
के साथ पहले उच्चस्तरीय मुलाकात में नई दिल्ली में भारतीय विदेश मंत्री सुषमा
स्वराज से भेंट की और व्यापार एवं निवेश समेत प्रमुख क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने
के तरीकों पर चर्चा की।वांग चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के विशेष दूत के तौर पर
भारत की नई सरकार के साथ राजनीतिक संपर्क स्थापित करने यहां आए थे उनकी यात्रा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चीन
के साथ पूर्व परिचय के कारण द्विपक्षीय संबंधों में मजबूती लाने की उम्मीद के बीच
हुई थी। वांग और सुषमा की वार्ता के दौरान उनके शिष्टमंडल भी साथ थे, जिनमें विदेश मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी शामिल
रहे। अपनी दो-दिवसीय यात्रा में वांग राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री
नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात की ।
वीओ 2 - बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना सुषमा
स्वराज से मिलीं
विदेशमंत्री
सुषमा स्वराज ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मुलाकात की और विभिन्न
महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की।सुषमा स्वराज अपने बांग्लादेशी समकक्ष अबुल हसन
महमूद अली से चर्चा के बाद हसीना से मिलीं थी ।इस दौरे में किसी समझौते पर
हस्ताक्षर नहीं किया गया । इसे ‘सद्भावना यात्रा’
बताया गया था।
जिसका मकसद द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाना था ।
वीओ३ - सुषमा स्वराज ने अपनी नेपाल यात्रा को बेहद
सफल बताया
सुषमा ने नेपाल संयुक्त आयोग की 23 साल बाद की थी बैठक की सह-अध्यक्षता
भारतीय विदेश
मंत्री सुषमा स्वराज ने अपनी तीन दिन की नेपाल यात्रा को बेहद सफल बतायाथा। उनकी इस यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच
बिजली व्यापार समझौते के मसौदे को अंतिम रूप देने व 1950 की महत्वपूर्ण संधि की बदली परिस्थितियों के संदर्भ में
समीक्षा व उसमें समायोजन करने की सहमति बनी थी ।सुषमा ने नई दिल्ली के लिए रवाना
होने से पहले काठमांडू के त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से
बातचीत में कहा, यह बेहद सफल
यात्रा रही थी । सुषमा ने 23 साल बाद हुई
भारत-नेपाल संयुक्त आयोग की बैठक की सह-अध्यक्षता की थी ।उनकी इस यात्रा का एक
मकसद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 3 अगस्त से दो दिन की नेपाल यात्रा की तैयारी भी था। कोई भारतीय प्रधानमंत्री 17 साल में पहली नेपाल यात्रा करने वाला है।
दिवंगत प्रधानमंत्री आईके गुजराल 1997 में नेपाल यात्रा पर आए थे।
वीओ 4 - कैरी से मुलाकात
पर सुषमा
जासूसी का मुद्दा उठाया
ऐसी जासूसी स्वीकार्य नहीं है-सुषमा
विदेश मंत्री
सुषमा स्वराज ने कैरी से मुलाकात पर कहा कि उन्होंने दौरे पर आए अमेरिकी विदेश
मंत्री जॉन केरी के सामने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की जासूसी किए जाने का
मुद्दा उठाया और इसे लेकर भारतीय जनमानस में गुस्से से अवगत कराया था ।सुषमा
ने केरी के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन
को संबोधित करने के दौरान कहा, "अमेरिका का यह कारनामा हमें पूरी तरह से नामंजूर है क्योंकि हम दोनों ही मित्र
राष्ट्र हैं।"
sushama swaraj in chaina
चीन के विदेश
मंत्री ने सुषमा स्वराज से की मुलाकात
चीन के विदेश
मंत्री वांग यी ने भारत की नई सरकार के साथ पहले उच्चस्तरीय मुलाकात में नई दिल्ली
में भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से भेंट की और व्यापार एवं निवेश समेत
प्रमुख क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के तरीकों पर चर्चा की।
वांग चीन के
राष्ट्रपति शी जिनपिंग के विशेष दूत के तौर पर भारत की नई सरकार के साथ राजनीतिक
संपर्क स्थापित करने यहां आए थे उनकी
यात्रा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चीन के साथ पूर्व परिचय के कारण द्विपक्षीय
संबंधों में मजबूती लाने की उम्मीद के बीच हो रही है।
वांग और सुषमा की
वार्ता के दौरान उनके शिष्टमंडल भी साथ थे, जिनमें विदेश मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी शामिल रहे। अपनी
दो-दिवसीय यात्रा में वांग राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
से भी मुलाकात की । वांग भारत के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ मुलाकात करेंगे और
द्विपक्षीय रिश्तों को आगे बढ़ाने के तरीकों पर गहराई से विचार-विमर्श कीया।
चीन का नया
नेतृत्व ऐसे समय में भारत के साथ रिश्तों में सुधार चाहता है, जब वह पूर्वी चीन सागर में जापान के साथ और
दक्षिण चीन सागर में वियतनाम, फिलीपींस तथा
अन्य समुद्री पड़ोसी देशों के साथ समुद्री विवाद को लेकर गंभीर चुनौतियों का सामना
कर रहा है और जहां एशिया-प्रशांत क्षेत्र में अमेरिकी सेना का बड़ा दबाव बन रहा
है। कोई भारतीय प्रधानमंत्री 17 साल में पहली नेपाल यात्रा करने वाला है।
दिवंगत प्रधानमंत्री आईके गुजराल 1997 में नेपाल यात्रा पर आए थे।
सुषमा की इस
यात्रा के दौरान भारत ने नेपाल से कहा कि भारत की नई सरकार दोनों देशों के
बहुआयामी आपसी संबंधों को नई गति को काफी इच्छुक है। दोनों देशों ने रक्षा,
सुरक्षा, व्यापार व पनबिजली जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सहयोग
बढ़ाने का फैसला किया है। दोनों पक्षों ने 1950 की शांति व मित्रता की संधि की समीक्षा व उसमें समायोजन पर
भी सहमति जताई है, ताकि वह वर्तमान
वास्तविकताओं को परिलक्षित कर सके।
संयुक्त आयोग ने
विदेश सचिवों को इस बारे में आवश्यक सिफारिशें करने को कहा है। आयोग ने नेपाल-भारत
सीमा कार्यसमूह को जमीनी कार्य जल्द से जल्द शुरू करने को भी कहा है। यह फैसला
भारत नेपाल संयुक्त आयोग की बैठक में किया गया। इस बैठक की अध्यक्षता सुषमा व
नेपाली विदेश मंत्री महेंद्र बहादुर पांडे ने संयुक्त रूप से की। दोनों नेताओं ने
नेपाल की पनबिजली क्षमताओं का आपसी हितों के लिए दोहन करने की जरूरत पर जोर दिया।
उन्होंने
अधिकारियों से बिजली व्यापार करार (पीटीए) के मसौदे को जल्द से जल्द अंतिम रूप
देने का निर्देश दिया। इसके अलावा उन्होंने पंचेश्वर बहुउद्देशीय परियोजना की
विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश अधिकारियों
को दिया है।
john kerry vs sushma swaraj
कैरी से मुलाकात
पर सुषमा
हमने जासूसी का
मुद्दा उठाया और कहा कि ऐसी जासूसी स्वीकार्य नहीं है
विदेश मंत्री
सुषमा स्वराज ने कैरी से मुलाकात पर कहा कि उन्होंने दौरे पर आए अमेरिकी विदेश
मंत्री जॉन केरी के सामने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की जासूसी किए जाने का
मुद्दा उठाया और इसे लेकर भारतीय जनमानस में गुस्से से अवगत कराया। कुछ अमेरिकी
जासूसी एजेंसियों पर कथित रूप से भाजपा की जासूसी करने का आरोप है।
सुषमा ने केरी के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन को
संबोधित करने के दौरान कहा, "अमेरिका का यह कारनामा
हमें पूरी तरह से नामंजूर है क्योंकि हम दोनों ही मित्र राष्ट्र हैं।"
केरी ने हालांकि
कहा कि वे इस मुद्दे पर मीडिया के साथ बातीचत नहीं कर सकते क्योंकि अमेरिका की
नीति के अनुसार गुप्तचरी के मुद्दे पर सार्वजनिक रूप से चर्चा नहीं की जा सकती।
उन्होंने कहा,
"हम गुप्तचरी के मुद्दे पर
सार्वजनिक रूप से चर्चा नहीं कर सकते। लेकिन हम आतंकवाद से मुकाबले को लेकर भारत
के साथ सूचनाओं के आदान-प्रदान का मूल्यांकन करते हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति बराक
ओबामा ने स्पष्ट रूप से कहा है कि भारतीयों की भावना का हम पूरी तरह से आदर करते
हैं और समझते हैं।"
g=H � y e X@�
��
mily:"Mangal","serif";
mso-ascii-font-family:Calibri;mso-ascii-theme-font:minor-latin;mso-hansi-font-family:
Calibri;mso-hansi-theme-font:minor-latin;mso-bidi-language:HI'>उनकी इस यात्रा
का एक मकसद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 3 अगस्त से दो दिन की नेपाल यात्रा की तैयारी भी था। कोई भारतीय प्रधानमंत्री 17 साल में पहली नेपाल यात्रा करने वाला है।
दिवंगत प्रधानमंत्री आईके गुजराल 1997 में नेपाल यात्रा पर आए थे।
सुषमा की इस
यात्रा के दौरान भारत ने नेपाल से कहा कि भारत की नई सरकार दोनों देशों के
बहुआयामी आपसी संबंधों को नई गति को काफी इच्छुक है। दोनों देशों ने रक्षा,
सुरक्षा, व्यापार व पनबिजली जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सहयोग
बढ़ाने का फैसला किया है। दोनों पक्षों ने 1950 की शांति व मित्रता की संधि की समीक्षा व उसमें समायोजन पर
भी सहमति जताई है, ताकि वह वर्तमान
वास्तविकताओं को परिलक्षित कर सके।
संयुक्त आयोग ने
विदेश सचिवों को इस बारे में आवश्यक सिफारिशें करने को कहा है। आयोग ने नेपाल-भारत
सीमा कार्यसमूह को जमीनी कार्य जल्द से जल्द शुरू करने को भी कहा है। यह फैसला
भारत नेपाल संयुक्त आयोग की बैठक में किया गया। इस बैठक की अध्यक्षता सुषमा व
नेपाली विदेश मंत्री महेंद्र बहादुर पांडे ने संयुक्त रूप से की। दोनों नेताओं ने
नेपाल की पनबिजली क्षमताओं का आपसी हितों के लिए दोहन करने की जरूरत पर जोर दिया।
उन्होंने
अधिकारियों से बिजली व्यापार करार (पीटीए) के मसौदे को जल्द से जल्द अंतिम रूप
देने का निर्देश दिया। इसके अलावा उन्होंने पंचेश्वर बहुउद्देशीय परियोजना की
विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश अधिकारियों
को दिया है।
sushma swaraj in nepal
सुषमा स्वराज ने
अपनी नेपाल यात्रा को बेहद सफल बताया
भारतीय विदेश
मंत्री सुषमा स्वराज ने अपनी तीन दिन की नेपाल यात्रा को बेहद सफल बताया है। उनकी
इस यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच बिजली व्यापार समझौते के मसौदे को अंतिम
रूप देने व 1950 की महत्वपूर्ण
संधि की बदली परिस्थितियों के संदर्भ में समीक्षा व उसमें समायोजन करने की सहमति
बनी।
सुषमा ने नई
दिल्ली के लिए रवाना होने से पहले काठमांडू के त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे
पर संवाददाताओं से बातचीत में कहा, यह बेहद सफल
यात्रा रही। इसकी उपलब्धियां मेरी उम्मीदों से अधिक रही हैं।
विदेश मंत्री ने
कहा कि दोनों पक्षों ने अड़चनों को दूर किया है और कई महत्वपूर्ण क्षेत्रों में
सहयोग बढ़ाने की सहमति दी है। सुषमा ने यहां राष्ट्रपति रामबरन यादव और
प्रधानमंत्री सुशील कोईराला सहित नेपाल के शीर्ष नेताओं के साथ मुलाकात की।
उन्होंने विपक्ष के नेता व यूनाइटेड कम्यूनिस्ट पार्टी ऑफ नेपाल-माओवादी के प्रमुख
प्रचंड से भी मुलाकात की।
सुषमा ने रविवार
सुबह उप प्रधानमंत्री बाम देव गौतम से भी मुलाकात की। वह सीपीएन-यूएमएल के
कार्यवाहक चेयरमैन भी हैं, जो सत्ताधारी
गठबंधन का हिस्सा है। सुषमा ने 23 साल बाद हुई
भारत-नेपाल संयुक्त आयोग की बैठक की सह-अध्यक्षता की।
उनकी इस यात्रा
का एक मकसद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 3 अगस्त से दो दिन की नेपाल यात्रा की तैयारी भी था। कोई भारतीय प्रधानमंत्री 17 साल में पहली नेपाल यात्रा करने वाला है।
दिवंगत प्रधानमंत्री आईके गुजराल 1997 में नेपाल यात्रा पर आए थे।
सुषमा की इस
यात्रा के दौरान भारत ने नेपाल से कहा कि भारत की नई सरकार दोनों देशों के
बहुआयामी आपसी संबंधों को नई गति को काफी इच्छुक है। दोनों देशों ने रक्षा,
सुरक्षा, व्यापार व पनबिजली जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सहयोग
बढ़ाने का फैसला किया है। दोनों पक्षों ने 1950 की शांति व मित्रता की संधि की समीक्षा व उसमें समायोजन पर
भी सहमति जताई है, ताकि वह वर्तमान
वास्तविकताओं को परिलक्षित कर सके।
संयुक्त आयोग ने
विदेश सचिवों को इस बारे में आवश्यक सिफारिशें करने को कहा है। आयोग ने नेपाल-भारत
सीमा कार्यसमूह को जमीनी कार्य जल्द से जल्द शुरू करने को भी कहा है। यह फैसला
भारत नेपाल संयुक्त आयोग की बैठक में किया गया। इस बैठक की अध्यक्षता सुषमा व
नेपाली विदेश मंत्री महेंद्र बहादुर पांडे ने संयुक्त रूप से की। दोनों नेताओं ने
नेपाल की पनबिजली क्षमताओं का आपसी हितों के लिए दोहन करने की जरूरत पर जोर दिया।
उन्होंने
अधिकारियों से बिजली व्यापार करार (पीटीए) के मसौदे को जल्द से जल्द अंतिम रूप
देने का निर्देश दिया। इसके अलावा उन्होंने पंचेश्वर बहुउद्देशीय परियोजना की
विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश अधिकारियों
को दिया है।
shekh hasina vs sushma swraj
बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मिलीं सुषमा स्वराज
विदेशमंत्री सुषमा स्वराज ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मुलाकात की और विभिन्न महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की।सुषमा स्वराज अपने बांग्लादेशी समकक्ष अबुल हसन महमूद अली से चर्चा के बाद हसीना से मिलीं।इस दौरे में किसी समझौते पर हस्ताक्षर नहीं किया गया । इसे ‘सद्भावना यात्रा’ बताया गया जिसका मकसद द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाना, जो पिछले कुछ वर्षों से सकारात्मक दिशा में आगे बढ़ रहे हैं।
विदेशमंत्री सुषमा स्वराज ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मुलाकात की और विभिन्न महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की।सुषमा स्वराज अपने बांग्लादेशी समकक्ष अबुल हसन महमूद अली से चर्चा के बाद हसीना से मिलीं।इस दौरे में किसी समझौते पर हस्ताक्षर नहीं किया गया । इसे ‘सद्भावना यात्रा’ बताया गया जिसका मकसद द्विपक्षीय संबंधों को आगे बढ़ाना, जो पिछले कुछ वर्षों से सकारात्मक दिशा में आगे बढ़ रहे हैं।
सदस्यता लें
संदेश (Atom)